बिलासपुर। TODAY छत्तीसगढ़ / कांग्रेस हाईकमान ने बिलासपुर जिले के संगठन में बड़ा बदलाव करते हुए सिद्धांशु मिश्रा को शहर जिला कांग्रेस अध्यक्ष और महेंद्र गंगोत्री को ग्रामीण जिला कांग्रेस अध्यक्ष की जिम्मेदारी सौंपी है। दोनों नेताओं के कांग्रेस भवन पहुंचते ही कार्यकर्ताओं ने गर्मजोशी से स्वागत किया। निवर्तमान ग्रामीण जिला अध्यक्ष विजय केसरवानी ने भी पुष्पगुच्छ भेंटकर नए अध्यक्षों का अभिनंदन किया।
नियुक्ति के बाद ग्रामीण जिला कांग्रेस अध्यक्ष महेंद्र गंगोत्री ने कहा कि राष्ट्रीय नेतृत्व ने उन पर भरोसा जताकर बड़ी जिम्मेदारी दी है। वे संगठन को और मजबूत करने के लिए पूरी निष्ठा से काम करेंगे। उन्होंने भाजपा सरकार पर सीधा हमला करते हुए कहा कि धान खरीदी की अव्यवस्था, बिजली दरों में वृद्धि, लगातार कटौती और रजिस्ट्री दरों में भारी बढ़ोतरी ने जनता की परेशानियाँ बढ़ा दी हैं।
गंगोत्री ने आरोप लगाया कि शांतिपूर्ण धरना दे रहे कांग्रेस कार्यकर्ताओं पर वॉटर कैनन चलाना और नेताओं पर FIR दर्ज करना लोकतांत्रिक मूल्यों के खिलाफ है। उन्होंने मतदाता पुनरीक्षण अभियान पर भी सवाल उठाते हुए कहा कि भाजपा वोटर सूची में कटौती की रणनीति अपना रही है, लेकिन कांग्रेस इसे सफल नहीं होने देगी।
मस्तूरी से चुनाव लड़ने के सवाल पर महेंद्र गंगोत्री ने कहा कि “कांग्रेस के लिए कार्य करना ही सबसे बड़ा चुनाव है। लक्ष्य सभी छः विधानसभा सीटें जीतना है।”
शहर कांग्रेस अध्यक्ष सिद्धांशु मिश्रा ने अपनी नियुक्ति के लिए कांग्रेस नेतृत्व का आभार जताते हुए कहा कि प्रदेश में “डबल इंजन नहीं, डबल ढोंग की सरकार चल रही है।” उन्होंने आरोप लगाया कि विकास कार्य ठप हैं, जनता परेशान है और भाजपा सरकार उद्योगपतियों को लाभ पहुँचाने में जुटी है।
मिश्रा ने बिजली बिल हाफ योजना बंद करने, रजिस्ट्री दरों में भारी बढ़ोतरी और धान खरीदी की अव्यवस्था पर भी तीखी प्रतिक्रिया दी। हाल ही में मुख्यमंत्री के पोस्टर पर चप्पल फेंकने की घटना पर उन्होंने कहा कि कांग्रेस मर्यादा में विश्वास करती है, परंतु वर्षों से भाजपा नेताओं द्वारा कांग्रेस नेतृत्व का अपमान किया गया है। “हम ऐसी गतिविधियों का समर्थन नहीं करते, लेकिन जैसा आचरण मिलेगा, वैसा जवाब भी दिया जाएगा,”
उन्होंने संकेत दिया कि कांग्रेस जल्द ही एसआईआर, बिजली दरों और धान खरीदी जैसे मुद्दों पर बड़ा आंदोलन शुरू करने जा रही है। मिश्रा ने दावा किया कि बिलासपुर कांग्रेस अपने सबसे सक्रिय दौर में है और आगामी चुनाव में शहर व ग्रामीण दोनों मोर्चों पर भाजपा को कड़ी चुनौती दी जाएगी।
कुल मिलाकर, बिलासपुर कांग्रेस में हुए इस संगठनात्मक बदलाव ने जिले की राजनीति में नई हलचल ला दी है। शहर और ग्रामीण दोनों मोर्चों पर नए अध्यक्षों ने भाजपा सरकार के खिलाफ आक्रामक रणनीति का संकेत देकर आने वाले दिनों में राजनीतिक तापमान बढ़ने का संकेत दे दिया है।
