जब संवाददाता ने सिंहदेव से यह पूछा कि क्या विधायक बृहस्पति सिंह के माफी मांगने के बाद मामला खत्म हो गया है तो सिंहदेव ने साफ-साफ कहा माफी तो नहीं मांगी उन्होंने शायद खेद व्यक्त किया हो और बाद में तो कहा कि मैंने माफी नहीं मांगी है। खैर माफी मंगवाने का कोई मकसद नहीं था माफी कोई मांगे मेरे मन में जरा भी बात नहीं थी लेकिन अनुशासन का मामला था यह बहुत ही अप्रिय घटना क्रम रहा।
सिंहदेव से पूछा गया कि क्या वे इस मामले को लेकर राहुल गांधी से मिलेंगे तो उन्होंने कहा कि इस मामले को लेकर राहुल गांधी से मिलने का कोई सवाल ही नहीं है। पार्टी के जो जनरल सेक्रेटरी छत्तीसगढ़ के मामले देखते हैं उन्होंने अपने तरह से इसे देखा है और मैं तो केवल स्वास्थ्य के कारण से यहां आया हूं। इस पूरे मामले में भूपेश बघेल की जो भूमिका रही क्या आप उससे संतुष्ट हैं? संवाददाता ने उनसे कहा कि आपने यह इशारा किया था कि इसके पीछे मुख्यमंत्री का हाथ था तो सिंहदेव ने इस सवाल को खारिज करते हुए कहा कि मैंने कभी ऐसी बात नहीं कही थी कि इसके पीछे मुख्यमंत्री का हाथ में था और ऐसा कहना भी नहीं चाहूंगा। उन्होंने कहा कि ढाई-ढाई साल मुख्यमंत्री रहने की बात बार-बार आती है लेकिन किसी भी पार्टी में ऐसे लिखित समझौते नहीं होते हैं और समय के हिसाब से पार्टी हाईकमान फैसले लेती है।
संवाददाता ने सिंहदेव से बृहस्पति सिंह के बर्ताव के बारे में पूछा तो उन्होंने कहा कि ऐसा बर्ताव कभी भी नहीं होना चाहिए लेकिन वे इस पर अधिक बोलना नहीं चाहते क्योंकि यह पार्टी के भीतर का मामला है। संवाददाता ने कहा कि मुख्यमंत्री ने बृहस्पति सिंह को धन्यवाद दिया था तो इस पर सिंहदेव ने कहा कि यह मुख्यमंत्री जी का बयान था और वे उस पर कुछ कहना नहीं चाहते।