Slider

खनन घोटाला : IAS बी चंद्रकला सहित 11 पर CBI ने दर्ज किया केस,

[TODAY छत्तीसगढ़] / उत्तर-प्रदेश में हुए खनन घोटाले की सीबीआई जांच में बड़ा खुलासा हुआ.  हमीरपुर की डीएम रहते हुए आईएएस बी चंद्रकला पर दस अन्य लोगों के साथ मिलकर आपराधिक साजिश रचते हुए अवैध खनन करवाने का मामला सामने आया . दो जनवरी को सीबीआई के दर्ज मुकदमे में बी चंद्रकला सहित 11 आरोपियों को क्रिमिनिल कांसिपिरेसी में शामिल होने की बात कही गई है. इसमें सपा और बसपा के दो नेता सहित कई बाबू और दलाल भी शामिल हैं. सूत्र बता रहे हैं कि 2012 से 2016 के बीच हुए इस घोटाले का पूरा सच जानने के लिए सीबीआई अब पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव से भी पूछताछ कर सकती है. वजह कि वर्ष 2012 से 2013 के बीच अखिलेश यादव ने खनन महकमा अपने पास रखा था. बाद में उन्होंने गायत्री प्रसाद प्रजापति को खनन मंत्री बनाया था. 
दरअसल, समाजवादी पार्टी की सरकार में अवैध खनन को लेकर इलाहाबाद हाईकोर्ट में कई याचिकाएं पहुंचीं थीं. इलाहाबाद हाईकोर्ट ने 2016 में यूपी में अवैध खनन की जांच के आदेश दिए. यूपी के सात प्रमुख जिलों में अवैध खनन की शिकायत इलाहाबाद कोर्ट को मिली थी. उस दौरान फतेहपुर, देवरिया, शामली, कौशांबी, सहारनपुर, सिद्धार्थनगर, हमीरपुर में अवैध खनन का मामला सामने आया था. हमीरपुर मामले में दो जनवरी,2019 को सीबीआई के डिप्टी एसपी केके शर्मा ने केस दर्ज कराया.  इसी केस में शनिवार को सीबीआई ने आईएएस बी चंद्रकला के लखनऊ स्थित फ्लैट सहित 14 स्थानों पर छापेमारी की. ये छापेमारी कानपुर, लखनऊ, हमीरपुर, जालौन, नोएडा में भी हुई. आईपीसी की धाराओं 379,384,420,511 120 B और भ्रष्टाचार अधिनियम के तहत संबंधितों पर केस दर्ज हुआ है.. 2012 से 2016 के बीच में बालू की माइनिंग अवैध तरीके से की गई थी. शिकायतों के मुताबिक अधिकारी अवैध खनन कर रहे लोगों और अवैध बालू ले जा रहे वाहनों के ड्राईवरों से पैसे ऐंठते थे। 
 कैसे हुआ खेल - 
31 मई 2012 को यूपी सरकार की ओर से एक ऑर्डर जारी किया गया था. जिसमें जिसमें कहा गया था, जो भी माइनिंग होगी, वो ई टेंडर से होगी.लेकिन ये नियम फॉलो नहीं किया गया. हमीरपुर में अवैध खनन के मामले में दो जनवरी को दर्ज एफआई में सीबीआई ने बी चंद्रकला को आरोपी नंबर वन बनाया है. हमीरपुर में डीएम रहते हुए बी चंद्रकला ने अवैध तरीके से खनन के पट्टे आवंटित किए. छापेमारी के दौरान उनके घर से कुछ कागज़ मिले हैं. इसके अलावा एक लॉकर और 2 अकॉउंट से जुड़े कागजात हैं. 2 घर के बारे में जानकारी मिली. आरोपी नंबर टू आदिल खान हैं. आरोप है कि तत्कालीन खनन मंत्री गायत्री प्रजापति के चलते इन्हें खनन की लीज मिली. दिल्ली के लाजपत नगर और लखनऊ में घर है. तीसरे आरोपी हमीरपुर के मोइनुद्दीन हैं. जिनके घर से 12.5 लाख कैश, 1.8 किलो सोना मिला. चौथे आरोपी समाजवादी पार्टी के एमएलसी रमेश मिश्रा, इनके भाई दिनेश कुमार मिश्रा, पांचवा आरोपी हमीरपुर का माइनिंग क्लर्क राम आसरे प्रजापति रहा. छठें आरोपी के तौर पर अंबिका तिवारी पर केस दर्ज हुआ. अंबिका तिवारी रमेश का काम देखता था.  
सातवे आरोपी के तौर पर संजय दीक्षित पर भी केस दर्ज हुआ है. संजय दीक्षित 2017 में बसपा के टिकट पर चुनाव लड़े थे. संजय के पिता सत्यदेव दीक्षित के घर भी छापेमारी हुई. जालौन के माइनिंग क्लर्क राम अवतार के घर से दो करोड़ कैश और दो करोड़ सोना मिला.  रामअवतार के करीबी करन सिंह के घर छापेमारी जारी है. बता दें कि 2012 में मुख्मंत्री बनने के बाद अखिलेश यादव ने खनन विभाग अपने पास रखा था. 2012 से 2013 तक यह विभाग उनके पास रहा. बाद में गायत्री प्रसाद प्रजापति मंत्री बने थे. कहा जा रहा है कि सीबीआई खनन घोटाले के मामले में अखिलेश यादव से भी पूछताछ कर सकती है. [इनपुट- NDTV india]

© all rights reserved TODAY छत्तीसगढ़ 2018
todaychhattisgarhtcg@gmail.com