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खज्जियार - भारत का मिनी 'स्वीटजरलैंड'

नैसर्गिक खूबसूरती से घिरे हिमाचल प्रदेश की सुंदरता और मनोरमता केवल शिमला, मनाली और धर्मशाला को देखकर पूरी नहीं होती बल्कि इस प्रदेश में खज्जियार भी है जो हिमाचल का एक अत्यंत सुन्दर और लुभावनी जगह है। हिमाचल प्रदेश के चंबा जिले में दिल्ली से 570 किलोमीटर दूर और डलहौज़ी से 24 किमी दूर स्थित खज्जियार देश के नक़्शे में  "मिनी स्विटजरलैंड" का गौरव हासिल किये हुए है।  अपनी यात्रा के दौरान मैं अपने सारथि प्रकाश बादल जी के साथ देश के  "मिनी स्विटजरलैंड" भी पहुंचा।

 यहाँ खजियार झील और काफी बड़ा हरा-भरा मैदान है जो सैलानियों के आकर्षण का बड़ा केंद्र है।  यह जगह चारो ओर से हरियाली की चादर से ढकी हुई है। सैकड़ो फुट ऊँचे देवदार के पेड़ हवा में नाचते-झूमते सैलानियों के आगमन पर खुशियां बिखेरते हैं। खज्जियार को देखकर  "मिनी स्विटजरलैंड" की झलक आँखों के सामने होती है। यहां डलहौजी से बकरीटा हिल्स के माध्यम से पहुंचा जा सकता है। जब आप कालाटोप  खजियार अभयारण्य की ओर जाते हैं, तो आप लकड़मंडी को देख सकेंगे। थोड़ा सा आगे को  बढ़ते हैं तो आँखों के सामने खजियार का मैदान दिखाई देता है। जिसमें एक अत्यंत सुंदर झील दिखाई देती हैं। यह जगह शाहरुख खान, काजोल और रानी मुखर्जी स्टार्स की फ़िल्म "कुछ कुछ होता है“ सहित कई बॉलीवुड फिल्मों का एक हिस्सा रही है। खज्जियार झील, खज्जी  नाग मंदिर की मूर्ति से सम्बन्धित होने के कारण एक पवित्र झील मानी जाती है। खजियार झील डलहौज़ी से लगभग 20 किमी पर स्थित है और यह 5000 वर्ग गज के क्षेत्र में फैली हुई है।  खजियार  मैदान समुद्र तल से 1950 मीटर की ऊँचाई पर स्थित है और अपना दिन अपने मित्रों और प्रियजनों के साथ बिताने के लिए एक लोकप्रिय स्थान है। यदि आप खजियार मैदान पर खड़े हैं, तो आप कैलाश पर्वत की झलक देख सकते हैं, ऐसा माना  जाता है कि कैलाश पर्वत भगवान शिव का घर है और वह वहां रहा करते थे। 

यहाँ खज्जी नाग मंदिर है जिसका निर्माण 12 शताब्दी  में किया गया था। यह मंदिर झील के नजदीक स्थित है और हिमाचल प्रदेश के सबसे पवित्र मंदिरों में से एक माना जाता है। इस मंदिर में महाभारत युग के कई प्रमाण उल्लेखित हैं। यह मंदिर सुंदर चंबा जिले में स्थित है। खजजी नाग मंदिर का निर्माण 10 वीं सदी में शुरू हुआ और यह मंदिर हिंदू और मुस्लिम वास्तुकला का मिश्रण दर्शाता है। इस खूबसूरत मंदिर के कक्षों को लकड़ी से बनाया गया है और अंदरूनी देवी हिडिम्बा के साथ भगवान शिव की मूर्तियां हैं।खजियार गांव अपने खूबसूरत और छोटे गांवों जैसे रोटा, लाडी आदि के लिए लोकप्रिय है जो ढलानों के पास स्थित हैं। 

 खज्जियार गांव में आकाश चूमते देवदार जंगलों के भीतर ये छोटे-छोटे गांव खज्जियार मैदान के काफी निकट हैं। ओक और शंकुधारी पेड़ों के बीच में स्थित, कालाटोप  वन्यजीव अभ्यारण्य 19.63 वर्ग किमी के क्षेत्र में फैला हुआ है। इस सुंदर अभयारण्य में हिरण, सीरव, जैक, तेंदुए, काला भालू, जंगली बिल्ली, हिमालयी काला मार्टन और अन्य वन्य प्रजातियां हैं। जब आप अभयारण्य में जाते है तो आप भी कई खतरनाक जानवरों और पक्षियों को देख सकेंगे। यह अभयारण्य डलहौज़ी और खज्जियार के बीच स्थित है। कैलाश पर्वत के घेरे में स्थित खज्जियार को देखने के बाद वहां से लौटने का मन नहीं होता। यहां लाखो सैलानी हर साल आते हैं और कई-कई दिनों तक  "मिनी स्विटजरलैंड" के अहसाह को करीब से महसूस करते हैं। हम भी यहां दो दिन रहे फिर हिमाचल के दूसरे हिस्से की खूबसूरती को निहारने निकल पड़े।    - सत्यप्रकाश पांडेय 

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