TODAY छत्तीसगढ़ / बिलासपुर / विधायक शैलेष पांडेय ने आज पशुधन विकास विभाग द्वारा जिला पशु चिकित्सालय में आयोजित एंटी रेबीज टीकाकरण अभियान का शुभारंभ किया। पशुओं से मनुष्यों में और मनुष्यों से पशुओं में जो बीमारी होती है उसे जूनोसीस बीमारी कहते हैं, जूनोसिस बीमारियां में मुख्यतः रेबीज है। यह मुख्यता कुत्तों के काटने से होता है इसमें त्वरित उपचार ना होने पर मनुष्य की मृत्यु भी हो जाती है। ज्ञात हो कि बिलासपुर शहर में आवारा कुत्तों के कारण अक्सर शहरवासी परेशान रहते हैं। विगत दिनों बिलासपुर विधायक ने अधिकारियों को कुत्तों की नसबंदी के लिए कार्य योजना बनाने के निर्देश दिए थे। रेबीज नियंत्रण अभियान के तहत वार्डो का समूह बनाकर कुत्तों की नसबंदी के लिए शिविर आयोजित किए जाएंगे। कार्यक्रम में संयुक्त संचालक पशु चिकित्सा सेवाएं डॉ रमेश कुमार सोनवाने के अलावा पशु चिकित्सक और अन्य अधिकारी उपस्थित रहे।
पशु विभाग के द्वारा 6 जुलाई को विश्व जोनोसिस दिवस के अवसर पर बिलासपुर विधानसभा क्षेत्र में रेबीज नियंत्रण अभियान की शुरुआत की गई, इस अभियान के तहत कुत्तों की आबादी को सीमित करने के लिए उनकी रैबीज इंजेक्शन लगाने का बीड़ा उठाया गया है, पशु विभाग के के द्वारा लगभग 5000 कुत्तों को इंजेक्शन लगाने का टारगेट रखा गया है। शहर के सड़कों पर घूम रहे आवारा कुतों से तथा इनकी बढ़ती जनसंख्या से भविष्य में उत्पन्न होने वाली परेशानियों से मुक्ति दिलाने की योजना बनाई जा रही है। कुतों को पकड़ने के लिए अलग टीम बनाई गई है तो वंही इलाज करने वाले डॉक्टरों की अलग टीम होगी।
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पशु विभाग के अधिकारियों ने बताया कि बिलासपुर विधानसभा अंतर्गत कुल 38 वार्डों में टीकाकरण दो चरणों में कैंप लगाकर किया जाएगा। प्रथम चरण में प्रत्येक वार्ड में दो दिवसीय कार्यक्रम रहेगा जिसमें वार्ड के पालतू कुत्तों का टीकाकरण किया जाएगा। द्वितीय चरण में प्रत्येक वार्ड में 2 से 3 दिन का कार्यक्रम रहेगा जिसमें वार्ड के गैर पालतू कुत्ते एवं पालतू कुत्ते जो टीकाकरण से छूट गए हैं उनका टीका लगाया जाएगा। शुरू में टीकाकरण 6 जुलाई से 8 जुलाई तक जिला पशु चिकित्सालय में आयोजित रहेगा तत्पश्चात दिनांक 10 जुलाई से 11 अक्टूबर तक विधानसभा के विभिन्न वार्डों में कैंप के माध्यम से किया जाएगा। इसके बावजूद इन कुत्तों का टिकट नहीं हो पाया है उन्हें आने वाले महीनों में कार्यक्रम आयोजन कराकर टीकाकरण किया जाएगा टीकाकरण हेतु चार दल गठित किए गए हैं जिसमें एक पशु चिकित्सालय सहायक शल्यग, एक सहायक पशु चिकित्सा क्षेत्र अधिकारी व एक परिचारक होगा।